सीएम राइज स्कूल बुदनी में गुरु पूर्णिमा उत्सव मनाया गया....


 

राजेश ठाकुर

बुधनी ब्यूरो

 मध्यप्रदेश शासन के पत्र परिपालन में शासकीय सीएम राइज स्कूल बुदनी में दो दिवसीय "गुरु पूर्णिमा उत्सव" बड़े ही उत्साहपूर्ण ढंग से मनाया गया जिसमें प्रथम दिवस प्रार्थना स्थल पर प्रार्थना के पश्चात गुरु पूर्णिमा के महत्व तथा पारंपरिक गुरु शिष्य संस्कृति पर शिक्षको द्वारा प्रकाश डाला गया साथ ही शाला में प्राचीनकाल में प्रचलित गुरुकुल व्यवस्था एवं उसका भारतीय संस्कृति पर प्रभाव विषय पर एक निबंध प्रतियोगिता का आयोजन हुआ । द्वितीय दिवस रविवार को एक वृहत आयोजन का प्रारंभ संस्था के सुरेंद्र सिंह जामलिया, प्रधानाध्यापक जीपी दायमा, प्राथमिक प्रभारी विनोद तनेजा, संस्था द्वारा आमंत्रित सेवानिवृत शिक्षको में से शाला में आगंतुक शिक्षक साहेब सिंह चौहान, शाला वार्ड पार्षद ज्योति पंजाबी और शाला के पूर्व छात्र धीरेन्द्र तिवारी द्वारा मां सरस्वती की प्रतिमा पर माल्यार्पण, सम्मुख दीप प्रज्वलन द्वारा हुआ । विद्यार्थियों और समस्त शिक्षक गणों के द्वारा इस अवसर पर सरस्वती वंदना का सामूहिक गायन हुआ साथ ही विद्यार्थियों ने गुरु वंदना की । इस अवसर पर संस्था की ओर से संस्था प्रभारी सुरेंद्र सिंह जामलिया ने सेवानिवृत शिक्षक साहेब सिंह चौहान का तथा अन्य सभी अतिथियों का स्वागत शाला के शिक्षको द्वारा किया गया। मंचासीन अतिथियों तथा सभी शिक्षको, गुरुओं में शामिल ब्रजेश रामहरिया, कृति शिवहरे, ज्योति उईके, अरविंद गौर, सालक राम मीना, विजय गौर,आयशा खान, वीणा शिवहरे,पवन अहिरवार, अरुण यादव, निशा ठाकुर, दीप्ति पवार, इरफान खान आदि का स्वागत विद्यालय के विद्यार्थी कंचन अहिरवार के नेतृत्व में माला तथा पुष्प गुच्छ भेटकर तिलक लगाकर किया । कार्यक्रम का संचालन कर रहे धीरेन्द्र तिवारी जी ने कहा आज में कार्यक्रम का संचालन संस्था के पूर्व छात्र के तौर पर कर रहा हूं मैं चाहता हूं यह संस्था इसी तरह नित नए आयाम स्थापित करे । कार्यक्रम में संबोधन में वार्ड नं 3 की पार्षद ज्योति पंजाबी ने शिक्षको को शुभकामनाएं दी और कहा वे इसी प्रकार उत्साहपूर्वक कार्य करते रहे । कार्यक्रम में अतिथि तथा पूर्व शिक्षक साहेब सिंह चौहान जी द्वारा अपने समय में शाला सिद्धांतो और गुरु शिष्य परंपरा के महत्व पर प्रकाश डाला। कार्यक्रम में उद्बोधन में सुरेंद्र सिंह जामलिया ने अपने उद्बोधन में माता,पिता और गुरु के महत्व को प्रतिपादित करते हुए कहा कि माता पिता के बाद एक गुरु अर्थात शिक्षक ही ऐसा होता है जो अपने जीवन में विद्यार्थियों को नित नई ऊंचाइयों पर अपने ज्ञान रूपी प्रकाश से परिमार्जित कर देखना चाहता है । विद्यार्थियों ने भी अपने गुरुओं को प्रणाम कर अपने विचार प्रस्तुत किए । कार्यक्रम के अंत में आभार शिक्षक ब्रजेश रामहरिया ने शाला की ओर से प्रदर्शित किया ।

Popular posts from this blog

शुजालपुर *कुर्सी तोड़ टी.आई रतन लाल परमार ऐसा काम ना करो ईमानदार एस.पी को बदनाम ना करो*

ट्रांसफर नीति पर अपने ही नियम तोड़ रहा एनएचएम ऑनलाइन की जगह ऑफलाइन किए कम्नूटी हेल्थ ऑफिसर के ट्रांसफर

फल ठेले बाले ने नपा सीएमओ पर बरसाए थप्पड़, कर्मचारियों को दौड़ा-दौड़ा कर पीटा वीडियो वायरल