40 प्रतिशत मुख्यमंत्रियों के खिलाफ आपराधिक केस, 10 पर हत्या के प्रयास का आरोप -ADR की रिपोर्ट में खुलासा, तेलंगाना सीएम पर सबसे ज्यादा 89 मामले
देश के 30 मुख्यमंत्रियों में से 12 यानी 40% ने अपने खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज होने की जानकारी दी है. चुनाव सुधार संगठन ADR की ताज़ा रिपोर्ट के अनुसार तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी पर सबसे अधिक 89 मामले हैं. तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन पर 47 और आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू पर 19 मामले दर्ज हैं.

ADR के मुताबिक भारत के लगभग 42 प्रतिशत मुख्यमंत्रियों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं.
यह रिपोर्ट ऐसे समय में आई है, जब सरकार तीन विधेयक लाई है, जिनमें गंभीर आपराधिक आरोपों में 30 दिनों के लिए गिरफ्तार किए गए प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्रियों और मंत्रियों को हटाने का प्रावधान है।
चुनाव अधिकार संस्था एडीआर की एक नई रिपोर्ट के अनुसार देश के 30 मुख्यमंत्रियों में से 12 यानी 40 प्रतिशत ने अपने खिलाफ आपराधिक मामले घोषित किए हैं। तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी ने अपने खिलाफ सबसे अधिक 89 मामले घोषित किए हैं, जबकि तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन ने 47 मामले घोषित किए हैं।
आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने 19, कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने 13 और झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने पांच मामले घोषित किए हैं। महाराष्ट्र और हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्रियों देवेंद्र फडणवीस और सुखविंदर सिंह सुक्खू ने चार-चार मामले, केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने दो और पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने एक मामला घोषित किया है।
यह रिपोर्ट ऐसे समय में आई है, जब सरकार तीन विधेयक लाई है, जिनमें गंभीर आपराधिक आरोपों में 30 दिनों के लिए गिरफ्तार किए गए प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्रियों और मंत्रियों को हटाने का प्रावधान है।
‘एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स’ (एडीआर) की रिपोर्ट के अनुसार, 10 यानी 33 प्रतिशत मुख्यमंत्रियों ने अपने खिलाफ गंभीर आपराधिक मामले दर्ज होने की घोषणा की है, जिनमें हत्या के प्रयास, अपहरण, रिश्वतखोरी और आपराधिक धमकी से जुड़े मामले शामिल हैं।
एडीआर ने कहा कि उसने राज्य विधानसभाओं और केंद्र शासित प्रदेशों के सभी 30 मौजूदा मुख्यमंत्रियों की ओर से खुद दिए गए हलफनामों का विश्लेषण किया है। यह डेटा उनके द्वारा अपना पिछला चुनाव लड़ने से पहले दायर किए गए हलफनामों से लिया गया है।
सरकार के नए विधेयक में 30 दिन की गिरफ्तारी के बाद देना होगा इस्तीफा
यह रिपोर्ट ऐसे समय में आई है जब केंद्र सरकार 3 नए विधेयक लेकर आई है, जिनमें यह प्रावधान किया गया है कि यदि प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री या मंत्री किसी गंभीर आपराधिक मामले में 30 दिनों के लिए गिरफ्तार होते हैं, तो उन्हें उनके पद से हटाया जा सकता है. ADR की यह रिपोर्ट इस बात पर भी रोशनी डालती है कि कैसे देश के शीर्ष नेतृत्व तक में आपराधिक पृष्ठभूमि वाले व्यक्ति मौजूद हैं. यह स्थिति न केवल लोकतंत्र की पारदर्शिता पर सवाल उठाती है, बल्कि शासन प्रणाली की विश्वसनीयता पर भी असर डालती है.
कैसे तैयार की गई रिपोर्ट?
एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (ADR) ने अपनी रिपोर्ट में मुख्यमंत्रियों के आपराधिक पृष्ठभूमि को लेकर रिपोर्ट कैसे तैयार की है. तो चलिए आपको बता देते हैं कि ADR ने यह विश्लेषण मुख्यमंत्रियों द्वारा पिछले विधानसभा चुनाव के दौरान दाखिल किए गए शपथपत्रों के आधार पर किया है. रिपोर्ट में यह भी बताया गया कि कुल 30 में से 12 मुख्यमंत्रियों (40%) ने किसी न किसी आपराधिक मामले में आरोपी होने की घोषणा की है. इनमें हत्या की कोशिश, अपहरण, रिश्वतखोरी और आपराधिक धमकी जैसे गंभीर आरोप शामिल हैं.