यमन से बड़ी राहत: केरल की नर्स निमिषा प्रिया की फांसी की सजा रद्द, ग्रैंड मुफ्ती के कार्यालय ने दी पुष्टि
ग्रैंड मुफ्ती के कार्यालय की तरफ से न्यूज एजेंसी को बताया गया है कि निमिषा प्रिया की मौत की सजा अब पूरी तरह से रद्द कर दी गई है। इस सजा को पहले निलंबित कर दिया गया था। अब फांसी के फैसले को पूरी तरह से पलट दिया गया है। इस फैसले को लेकर यमन की राजधानी सना में एक उच्च-स्तरीय बैठक की गई। इस मीटिंग में तय हुआ कि मौत की सजा को रद्द कर दिया जाए।

यमन के जेल में कैद केरल की नर्स निमिषा प्रिया की फांसी की सजा रद्द कर दी गई है। उन्हें यमन में फांसी की सजा सुनाई गई थी
Nimisha Priya Case: यमन में सजा-ए-मौत का सामना कर रहीं भारतीय नर्स निमिषा प्रिया को बड़ी राहत मिली है। खबर है कि यमन में अधिकारियों ने उनकी सजा के फैसले को पूरी तरह से पलट दिया है और फांसी को रद्द करने का फैसला किया है। भारतीय ग्रैंड मुफ्ती एपी अबुबकर मुसलैयार के दफ्तर के हवाले से ऐसा दावा किया जा रहा है। निमिषा को साल 2017 में यमनी नागरिक तलाल अब्दो महदी की हत्या के मामले में दोषी पाया गया था। इसके बाद हाल ही में उन्हें 16 मई को फांसी देने का ऐलान किया गया था, जिसे टाल दिया गया था।
समाचार एजेंसी एएनआई ने भारतीय ग्रैंड मुफ्ती एपी अबुबकर मुसलैयार के दफ्तर के हवाले से लिखा, 'निमिषा प्रिया की मौत की सजा को पहले निलंबित कर दिया गया था, अब उसे पूरी तरह पलट दिया गया है। सना में हुई उच्च स्तरीय बैठक में पहले निलंबित की हुई सजा को पूरी तरह से रद्द करने का फैसला किया गया है।' सना यमन की राजधानी है और यहीं जेल में निमिषा सजा काट रही हैं।
हालांकि, ग्रैंड मुफ्ती के कार्यालय ने यह भी जानकारी दी है कि अब तक यमनी सरकार से आधिकारिक संदेश नहीं मिला है। वहीं, भारत सरकार के विदेश मंत्रालय की तरफ से भी अब तक सजा रद्द होने की पुष्टि नहीं की गई है।.
निमिषा प्रिया की मां द्वारा दायर याचिका में कहा गया था कि कुछ समय बाद निमिषा का क्लिनिक शुरू हो गया. फिर महदी ने क्लिनिक के मालिकाना हक को लेकर गड़बड़ी करने लगा. उसने सभी को यह बताकर कि निमिषा उसकी पत्नी है, उसकी मासिक आय से पैसे भी लेने शुरू कर दिए. बाद में निमिषा ने आरोप लगाया कि महदी उसे और उसके परिवार वालो को तंग करने लगा. महदी ने उसका पासपोर्ट भी जब्त कर लिया था. ऐसा इसलिए किया गया ताकि वह यमन छोड़कर न जाए.
उसने उसे कई बार बंदूक की नोक पर धमकाया. उसने क्लिनिक से सारा पैसा और उसके गहने भी छीन लिए. याचिका में ये भी आरोप लगाया गया कि परेशान होकर उसने सना पुलिस से शिकायत की. हालांकि महदी के खिलाफ कार्रवाई नहीं की गई बल्कि पुलिस ने निमिषा को गिरफ्तार कर लिया. छह दिनों तक जेल में रखा.
यह भी आरोप लगाया गया है कि जेल से लौटने पर यातनाओं की गंभीरता कई गुना बढ़ गई. साल 2017 में निमिषा ने अपने क्लिनिक के पास एक जेल के वार्डन की मदद लेकर महदी को एक हाईपावर दर्दनाशक दवा दिया जिससे उसकी मौत हो गई.